वेतन नहीं मिलने से नहीं हुआ बेहतर इलाज, गढ़वा में DRDA कर्मी की मौत
गढ़वा न्यूज टुडे
गढ़वा जिले में वर्ष 2011 से पदस्थापित सहायक सांख्यिकी अधिकारी समर प्रकाश की रविवार को इलाज के दौरान मौत हो गयी। बताया जाता है कि डीआरडीए कर्मी समर प्रकाश की वेतन नहीं मिलने के कारण बेहतर इलाज नहीं होने से उनकी जान चली गयी। इसको लेकर कड़ी नाराजगी व्यक्त की गयी है।

एक सहकर्मी प्रवीण कुमार ने मुख्यमंत्री को ट्वीट कर कड़ी नाराजगी और दुख जताया है। मुख्यमंत्री को बताया गया कि वह हाथ जोड़कर प्रार्थना करते रहे, लेकिन कुछ नहीं हो सका। 10 महीने से वेतन के इंतजार में आज हमारा एक दोस्त इस दुनिया से चला गया। प्राण जाय तो जाय पर वेतन नहीं मिल पाये। यह झारखंड राज्य की व्यवस्था है। डीआरडीए कर्मचारियों को वेतन कब मिलेगा?
डीआरडीए ग्रामीण विकास विभाग के अधीन है। समर प्रकाश 2011 से डीआरडीए के तहत गढ़वा जिले में सहायक सांख्यिकी अधिकारी के पद पर तैनात थे। लेकिन बेहतर इलाज के अभाव में उनकी मौत हो गयी। मौत की खबर मिलते ही डीआरडीए के सभी कर्मचारियों में शोक का माहौल है। पिछले 10 माह से बिना वेतन के रह रहे डीआरडीए के कर्मचारियों ने घटना पर गहरा दुख जताया है। वेतन न देने के जिम्मेदार विभागीय कर्मियों व अन्य को चिन्हित कर सरकार से कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।
बताया जाता है कि 21 जनवरी को समर प्रकाश अपनी पत्नी के साथ फेफड़े में संक्रमण के इलाज के लिए वेल्लोर जा रहे थे। सांस लेने में तकलीफ होने पर रेलवे के डॉक्टर से इलाज के बाद 22 जनवरी को उन्हें संबलपुर के पास एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। डीआरडीए गढ़वा के सहकर्मी और डीडीसी के द्वारा इलाज के खर्च की व्यवस्था करने का प्रयास किया गया। करीब पांच लाख रुपए भी इंतजाम कर भेजे गये।
बेहतर इलाज के लिए परिजन पैसों का और इंतजाम करने में लगे थे, ताकि दिल्ली जाकर इलाज हो सके। लेकिन पैसे के अभाव में आज उनका निधन हो गया।
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